बीमारियों से बचाव के लिए सिर्फ़ दवाइयाँ ही काफ़ी नहीं हैं। इसके कई इलाज भी हैं। कई लोग इलाज के लिए दवाओं का इस्तेमाल करते हैं। आज हम आपके लिए एक ऐसी दवा के बारे में जानकारी लेकर आए हैं जिसे कैंसर का मारक माना जाता है। लोकल 18 ने आयुर्वेद चिकित्सक एमपी सिंह यादव से इस बारे में बात की।
इस बारे में जानकारी देते हुए डॉ. एमपी सिंह यादव कहते हैं कि प्राचीन काल में लोग अपनी बीमारियों का इलाज दवाओं से करते थे। अब लोग कैंसर के लिए भी दवाओं का इस्तेमाल कर रहे हैं।
इतना ही नहीं, यह दवा कैंसर के मरीजों के लिए किसी रामबाण इलाज से कम नहीं है। अगर लोग इसका नियमित सेवन करें, तो उन्हें कैंसर से राहत मिल सकती है।
डॉक्टर ने बताया कैंसर का इलाज
उन्होंने कहा कि हालाँकि भारत में कैंसर एक जानलेवा बीमारी साबित हो रही है, लेकिन हमारी प्राकृतिक चिकित्सा और दवाओं से इसका इलाज संभव है। प्राचीन काल में लोग दवाओं से अपना इलाज करते थे, लेकिन अब यह जड़ी-बूटी कैंसर के मरीजों के लिए रामबाण साबित हो रही है।
उन्होंने कहा कि अगर किसी व्यक्ति में कैंसर कोशिकाएं हैं या वह कैंसर से पीड़ित है, तो उसे प्राकृतिक चिकित्सा का सहारा लेना चाहिए। तुलसी का पौधा कैंसर पीड़ितों के लिए किसी रामबाण औषधि से कम नहीं है। तुलसी को गंगाजल और काली मिर्च के साथ पीसकर नियमित सेवन करने से लाभ होता है।
इन चीजों का करें सेवन
डॉक्टर ने बताया कि सुबह खाली पेट इन चीजों का सेवन बेहद फायदेमंद होता है। आयुर्वेदिक डॉक्टर ने इस उपचार को करने की सलाह दी है। एमपी सिंह यादव ने यह भी बताया कि सुबह खाली पेट 11 तुलसी के पत्तों को काली मिर्च और गंगाजल के साथ पीसकर सेवन करें।
पीसने के बाद, गंगाजल में औषधि के रूप में प्रयोग करें। नियमित रूप से ऐसा करने से कुछ ही दिनों में कैंसर कोशिकाएं नियंत्रित हो जाती हैं। इस बीमारी को धीरे-धीरे खत्म किया जा सकता है।
अस्वीकरण: इस लेख में दी गई जानकारी केवल शैक्षिक और सामान्य जानकारी के उद्देश्यों के लिए है। यह किसी भी प्रकार की चिकित्सा सलाह, निदान या उपचार का विकल्प नहीं है। आपकी व्यक्तिगत स्वास्थ्य स्थितियाँ और ज़रूरतें अलग-अलग हो सकती हैं, इसलिए कोई भी निर्णय लेने से पहले विशेषज्ञ की सलाह लेना ज़रूरी है।