क्या आप उच्च रक्तचाप से पीड़ित हैं? इन पाँच उपायों को अपनाकर आप बिना दवा के अपने रक्तचाप को नियंत्रित कर सकते हैं।

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उच्च रक्तचाप को स्वास्थ्य के लिए कई मायनों में खतरनाक माना जाता है, यह हृदय रोग के खतरे को बढ़ाता है। जिन लोगों का रक्तचाप अक्सर अनियंत्रित रहता है, उन्हें दिल का दौरा पड़ने का खतरा हो सकता है।

लेकिन क्या आप जानते हैं कि उच्च रक्तचाप का खतरा केवल हृदय रोगों तक ही सीमित नहीं है, अगर इसका इलाज न किया जाए तो यह आपकी आँखों, गुर्दे और कई अन्य महत्वपूर्ण अंगों के लिए भी समस्याएँ पैदा कर सकता है।

हर बार जब आप अपना रक्तचाप जाँचने जाते हैं, तो आपको दो संख्याएँ मिलती हैं। इसे सिस्टोलिक और डायस्टोलिक रक्तचाप कहते हैं। अगर यह सामान्य से कम या ज़्यादा रहता है, तो आपको सावधान रहने की ज़रूरत है।

अनियंत्रित उच्च रक्तचाप जानलेवा हो सकता है, इसलिए इसका इलाज और रक्तचाप को नियंत्रित करने के उपाय करना ज़रूरी हो जाता है।

सिस्टोलिक और डायस्टोलिक रक्तचाप के बारे में जानें

जब आपका दिल धड़कता है, तो यह आपकी धमनियों के माध्यम से रक्त को शरीर के बाकी हिस्सों में पहुँचाता है। यह बल रक्त वाहिकाओं पर दबाव बढ़ाता है, यही आपका सिस्टोलिक रक्तचाप है।

जब हृदय दो धड़कनों के बीच आराम कर रहा होता है, तो धमनियों पर पड़ने वाले दबाव को डायस्टोलिक रक्तचाप कहते हैं। आम बोलचाल की भाषा में इसे निम्नलिखित संख्या कहते हैं।

रक्तचाप की सामान्य सीमा क्या है?

डॉक्टरों का कहना है कि 120/80 का मान इंगित करता है कि आपका रक्तचाप सामान्य है। यदि सिस्टोलिक और डायस्टोलिक दोनों मान उच्च या बहुत कम हैं, तो आपको सावधान रहना चाहिए।

उच्च रक्तचाप आपके स्वास्थ्य के लिए जितना खतरनाक है, उतना ही लगातार निम्न रक्तचाप भी स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकता है। जिन लोगों के परिवार में पहले से ही रक्तचाप की समस्याओं का इतिहास रहा है या जो हृदय रोग से ग्रस्त हैं, उन्हें नियमित रूप से अपना रक्तचाप जांचते रहना चाहिए।

रक्तचाप को नियंत्रण में रखने के लिए क्या करें?

स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि रक्तचाप को नियंत्रित रखने के लिए जीवनशैली में बदलाव ज़रूरी हो जाते हैं। इन पाँच उपायों को अपनाकर आप बिना दवाइयों के रक्तचाप को नियंत्रित कर सकते हैं।

सोडियम कम करना – आहार में नमक की मात्रा कम करके रक्तचाप को आसानी से नियंत्रित किया जा सकता है। चिप्स और स्नैक्स में भी छिपा हुआ सोडियम (नमक) होता है।

अध्ययनों से पता चलता है कि एरोबिक व्यायाम (जो आपकी हृदय गति को बढ़ाता है) भी रक्तचाप को नियंत्रित रखने में मददगार है। रोज़ाना 30 मिनट व्यायाम करने की आदत डालें।

अगर आपका वज़न ज़्यादा है, तो उसे कम करें। ज़्यादा वज़न होने से उच्च रक्तचाप का ख़तरा बढ़ जाता है।

DASH आहार से रक्तचाप को नियंत्रित किया जा सकता है। आहार में हरी सब्ज़ियाँ और फल शामिल करना फ़ायदेमंद है।

धूम्रपान और शराब से परहेज़ करके भी रक्तचाप को नियंत्रित रखा जा सकता है।

घर पर जाँच जारी रखें

स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि जिन लोगों को रक्तचाप की समस्या है, उन्हें घर पर ही अपना रक्तचाप जाँचते रहना चाहिए। घर पर ब्लड प्रेशर मॉनिटर मशीन रखें और नियमित अंतराल पर रीडिंग लेते रहें।

रक्तचाप को बढ़ने से रोकने के लिए खान-पान पर विशेष ध्यान दें। स्वस्थ आहार और शारीरिक गतिविधि आपके रक्तचाप को नियंत्रित रखने में मदद कर सकते हैं।

अस्वीकरण: इस लेख में दी गई जानकारी केवल शैक्षिक और सामान्य जानकारी के उद्देश्यों के लिए है। यह किसी भी प्रकार की चिकित्सीय सलाह, निदान या उपचार का विकल्प नहीं है। आपकी व्यक्तिगत स्वास्थ्य स्थितियाँ और ज़रूरतें अलग-अलग हो सकती हैं, इसलिए कोई भी निर्णय लेने से पहले विशेषज्ञ की सलाह लेना ज़रूरी है।

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