कैंसर एक आम बीमारी है, लेकिन इसके परिणाम जानलेवा हो सकते हैं। साथ ही, इसका इलाज भी जटिल है। हालाँकि, अगर बीमारी का जल्द पता चल जाए, तो ठीक होने की संभावना ज़्यादा होती है। दरअसल, कैंसर के लक्षण अलग-अलग तरह से प्रकट होते हैं, इसलिए इन्हें जानना ज़रूरी है ताकि उचित इलाज दिया जा सके। डॉ. अनिल डी’क्रूज़, निदेशक ऑन्कोलॉजी और वरिष्ठ सलाहकार, हेड एंड नेक ऑन्कोलॉजी, अपोलो हॉस्पिटल्स, नवी मुंबई, कुछ ऐसे लक्षणों के बारे में बता रहे हैं जिनके बारे में सभी को पता होना चाहिए।
(1) मुंह में छाले, गांठें या असामान्य रंग परिवर्तन:
कई बार लोग कुछ लक्षणों को छोटी-मोटी समस्या समझकर नज़रअंदाज़ कर देते हैं। इनमें से एक है एसिडिटी या मुंह के अंदर अचानक लाल या सफेद दाने निकलना। ये मुंह के कैंसर के लक्षण हो सकते हैं। इसलिए, अगर जीभ, होठों या मुंह के अंदर ऐसे कोई भी लक्षण दिखाई दें, तो इसे गंभीरता से लें।
(2) स्तन में असामान्यताएँ:
कई लोग स्तन में गांठ या निप्पल से असामान्य स्राव को नज़रअंदाज़ कर देते हैं। लेकिन यह स्तन कैंसर का संकेत हो सकता है, जो महिलाओं में होने वाला सबसे आम कैंसर है। इसलिए, नियमित जाँच करवानी चाहिए और किसी भी असामान्य बदलाव की सूचना डॉक्टर को देनी चाहिए।
(3) शरीर के किसी भी छिद्र से असामान्य रक्तस्राव:
मासिक धर्म के अलावा किसी भी छिद्र (नाक, मुँह, कान) से रक्तस्राव को गंभीरता से लिया जाना चाहिए। मल या मूत्र में रक्त आना भी कैंसर का लक्षण हो सकता है। कैंसर का प्रकार शरीर के उस हिस्से पर निर्भर करता है जिसे यह प्रभावित करता है और अन्य कारकों पर भी।
(4) त्वचा पर नई गांठें या चकत्ते:
असामान्य रक्तस्राव, त्वचा का रूखापन, काले धब्बे या तिल त्वचा कैंसर के लक्षण हो सकते हैं। ऐसी स्थिति में समय पर चिकित्सा जांच आवश्यक है
(5) अचानक वजन कम होना, अत्यधिक थकान या भूख न लगना:
अगर पर्याप्त नींद या आराम के बाद भी थकान बनी रहती है, तो यह कैंसर का लक्षण हो सकता है। इसी तरह, अचानक वज़न कम होना या भूख न लगना भी हल्के में नहीं लेना चाहिए। यह गुर्दे (किडनी), जठरांत्र संबंधी मार्ग, रक्त, कोलोरेक्टल या फेफड़ों के कैंसर का संकेत हो सकता है। ऐसी स्थिति में डॉक्टर से परामर्श लेना ज़रूरी है।
(6) लगातार खांसी और थूक में खून आना:
अगर खांसी बनी रहती है, तो यह गले की समस्या का संकेत हो सकता है। अगर खांसी ठीक नहीं होती है, तो आपको डॉक्टर से मिलना चाहिए। अगर बलगम में खून आ रहा है, तो यह सामान्य सर्दी, फ्लू, प्रदूषण या धूम्रपान की आदत के कारण हो सकता है। लेकिन यह फेफड़ों के कैंसर का लक्षण भी हो सकता है।
(7) कोलन कैंसर के लक्षण:
अगर मल त्याग की आदतों में अचानक बदलाव आ जाए, जैसे बार-बार पेशाब आना, लगातार दस्त या कब्ज, तो इसे नज़रअंदाज़ नहीं करना चाहिए। इसी तरह, अगर मल या पेशाब में खून आए, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें। ये लक्षण प्रोस्टेट, मूत्राशय या मलाशय के कैंसर के लक्षण हो सकते हैं।
अस्वीकरण: इस लेख में दी गई जानकारी केवल शैक्षिक और सामान्य जानकारी के उद्देश्यों के लिए है। यह किसी भी प्रकार की चिकित्सा सलाह, निदान या उपचार का विकल्प नहीं है। आपकी व्यक्तिगत स्वास्थ्य स्थितियाँ और ज़रूरतें अलग-अलग हो सकती हैं, इसलिए कोई भी निर्णय लेने से पहले विशेषज्ञ की सलाह लेना ज़रूरी है।