दांत निकालना एक सामान्य दंत प्रक्रिया है जिसमें दांत को उसकी जड़ सहित मुंह से निकाल दिया जाता है। यह कई कारणों से किया जाता है। इनमें गहरी सड़न, गंभीर संक्रमण, टूटे या कमज़ोर दांत, या कभी-कभी दंत-चिकित्सक उपचार शामिल हैं।
दांत निकालने के दो मुख्य प्रकार हैं: साधारण निष्कासन, जिसमें दांत आसानी से दिखाई देता है और सामान्य स्थिति में होता है, और शल्य चिकित्सा निष्कासन, जिसमें दांत क्षतिग्रस्त हो जाता है या मुंह में धंस जाता है और मामूली शल्य चिकित्सा प्रक्रियाओं की आवश्यकता होती है। यह प्रक्रिया सुरक्षित है और आधुनिक दंत चिकित्सा तकनीकों के साथ, दर्द और संक्रमण का जोखिम बहुत कम है।
हालांकि, इसके कुछ जोखिम भी हैं। इनमें संक्रमण, लंबे समय तक रक्तस्राव, सूजन, दर्द और कभी-कभी तंत्रिका या जड़ की चोट शामिल हो सकती है। इसलिए उचित डॉक्टर की सलाह और उचित देखभाल बहुत ज़रूरी है।
दांत निकलवाने के बाद क्या ध्यान रखें?: यशोदा अस्पताल के ओरल और मैक्सिलोफेशियल सर्जन डॉ. अनमोल अग्रवाल बताते हैं कि दांत निकलवाने के बाद उचित देखभाल से जल्दी रिकवरी होती है। दांत निकलवाने के बाद कुछ समय तक हल्का रक्तस्राव होना सामान्य है, इसलिए दबाव बनाए रखें।
पहले 24 घंटों तक गर्म पानी या कुल्ला करने से बचें। फ़ास्ट या गर्म खाने की बजाय हल्का और मुलायम खाना खाएँ। धूम्रपान और शराब से बचें। क्योंकि इससे घाव पर असर पड़ सकता है।
अगर दर्द या सूजन हो, तो डॉक्टर द्वारा बताई गई दर्द निवारक दवा का इस्तेमाल करें। ब्रश या फ़ूड फ़्लॉस को सीधे घाव पर न लगाएँ। धीरे-धीरे सामान्य टूथब्रशिंग और कुल्ला करना शुरू करें। इस दौरान डॉक्टर के निर्देशों का पालन करना सबसे ज़रूरी है।
यह भी ज़रूरी है। पर्याप्त पानी पिएँ। खट्टे या मसालेदार भोजन से बचें। अगर घाव से बहुत ज़्यादा खून बह रहा हो, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें। डॉक्टर द्वारा बताए गए समय पर फ़ॉलो-अप करवाएँ। यदि कोई असामान्य लक्षण या तेज़ दर्द दिखाई दे, तो तुरंत डॉक्टर से सलाह लें।
अस्वीकरण: इस लेख में दी गई जानकारी केवल शैक्षिक और सामान्य जानकारी के उद्देश्य से है। यह किसी भी प्रकार की चिकित्सीय सलाह, निदान या उपचार का विकल्प नहीं है। आपकी व्यक्तिगत स्वास्थ्य स्थितियाँ और ज़रूरतें अलग-अलग हो सकती हैं, इसलिए कोई भी निर्णय लेने से पहले विशेषज्ञ की सलाह लेना ज़रूरी है।
