हाथों और पैरों में झुनझुनी अक्सर साधारण कारणों से होती है, लेकिन अगर यह बार-बार हो, तो यह कई गंभीर समस्याओं का कारण बन सकती है।
हाथों और पैरों में झुनझुनी कभी-कभी हल्की और कभी-कभी बहुत परेशान करने वाली हो सकती है। अगर यह कुछ समय के लिए होती है और अपने आप ठीक हो जाती है, तो यह आमतौर पर दबाव या गलत मुद्रा के कारण होती है। लेकिन अगर यह बार-बार या लगातार हो रही है, तो यह कई बीमारियों का लक्षण हो सकता है।
यह एक स्व-प्रतिरक्षी रोग है, जिसमें शरीर की अपनी प्रतिरक्षा प्रणाली नसों पर हमला करती है। ऐसी स्थिति में, हाथों और पैरों में झुनझुनी, संतुलन बनाए रखने में कठिनाई और धुंधली दृष्टि हो सकती है।
इस रोग में, रीढ़ की हड्डी की डिस्क अपनी जगह से खिसक जाती है और नसों पर दबाव डालती है। इसके लक्षणों में पीठ दर्द, पैर या हाथ में झुनझुनी और चलने में परेशानी शामिल है।
शरीर में थायराइड हार्मोन की कमी के कारण हाथ-पैरों की नसों पर दबाव पड़ता है। इसके लक्षणों में थकान, वजन बढ़ना, झुनझुनी और त्वचा का रूखा होना शामिल है।
अगर हाथ-पैरों में झुनझुनी बार-बार या लगातार हो रही है और इसके साथ कमजोरी, दर्द या चलते समय संतुलन बिगड़ने जैसी समस्याएं भी हो रही हैं, तो आपको तुरंत डॉक्टर से मिलना चाहिए।
अस्वीकरण: इस लेख में दी गई जानकारी शैक्षिक और सामान्य जानकारी के उद्देश्यों के लिए है। केवल। यह किसी भी प्रकार की चिकित्सीय सलाह, निदान या उपचार का विकल्प नहीं है। आपकी व्यक्तिगत स्वास्थ्य स्थितियाँ और ज़रूरतें अलग-अलग हो सकती हैं, इसलिए कोई भी निर्णय लेने से पहले विशेषज्ञ की सलाह लेना ज़रूरी है।
